राम चलो वनवास चलें
राम चलो वनवास चलें,
लोग तुम्हें अब ना भजते।
रीत यहाँ कि नहीं अब वो,
छोड़ गये तुम थे तब जो।।
राम चलो वनवास चलें,
लोग तुम्हें अब ना भजते।
रीत यहाँ कि नहीं अब वो,
छोड़ गये तुम थे तब जो।।
अंधेरा is a beautiful Nazm composed by Kalamkash, which tells us about the role of society in an incomplete love story.
Raksha Bandhan is a Hindi-Urdu poem writeen by Kalamkash on the occasion of Raksha Bandhan, an Indian festival.